बाजार में 125 से अधिक प्रकार की मिठाई
इंदौर के बाजार में कम से कम सवा सौ तरह की मिठाई बिक रही है।इनमें मावे, बेसन की परंपरागत मिठाइयां है। राखी पर खासतौर पर बिकने वाली घेवर और फैनी जो दूध-मैदे से बनती है। साथ ही दूध-मलाई से बनी बंगाली मिठाइयों के साथ सूखे मेवों और मिल्क पावडर, चाकलेट पावडर और फ्रूट पल्प से बनने वाली नई तरह की मिठाइयां भी शामिल हैं।
नए-नए फ्लेवर की मिठाई
स्वाद में नए प्रयोगों के लिए पहचाने जाने वाले शहर में सेंव की बर्फी सबसे नई मिठाई है। बमुश्किल 10-12 दिन पहले इस मिठाई को बाजार में उतारा गया है। जैन मिठाई भंडार के अपूर्व जैन के अनुसार देसी घी में पहले बेसन से बिना नमक मिर्च की सेंव बनाई जाती है। बाद में सूखे मेवे और मिठास के साथ उसकी बर्फी जमाई जाती है।
हाल में लांच यह मिठाई नए स्वाद चाहने वालों को पसंद आ रही है और हाथो-हाथ बिक रही है। बेसन-मावा महंगा, मिठाई के दाम नहीं बढ़े बीते साल के मुकाबले बेसन, दूध, मावे से लेकर सूखे मेवे तक के दाम बढ़ गए हैं। हालांकि मिठाइयों के दाम नहीं बढ़ाए गए हैं।
400 से 460 रुपये किलो मिठाई
इंदौर मिठाई-नमकीन निर्माता विक्रेता एसोसिएशन के सचिव अनुराग बोथरा के अनुसार इस वर्ष राखी पर मिठाईयों की अच्छी बिक्री होती दिख रही है। बीते साल इसी समय मावा 340 रुपये प्रति किलो था। बेसन भी बीते साल से 40 प्रतिशत तक महंगा है। इसके बावजूद शहर में मिठाई के औसत दाम 400 से 460 रुपये किलो के बीच है।
सूखे मेवे की मिठाइयां 700 से 1500 रुपये किलो तक बिक रही है। कच्चा माल महंगा होने के बावजूद दाम नहीं बढ़ाए गए क्योंकि शहर में परंपरा है कि त्योहार पर हम दाम नहीं बढाते। राखी के बाद जरुर दाम बढ़ाए जा सकते हैं।