‘न से नवाज, म से मस्जिद, क से काबा’… MP के स्कूल में बच्चों को पढ़ाया जा रहा इस्लामिक पाठ

‘न से नवाज, म से मस्जिद, क से काबा’… MP के स्कूल में बच्चों को पढ़ाया जा रहा इस्लामिक पाठ

मध्य प्रदेश के रायसेन में एक निजी स्कूल में नर्सरी के विद्यार्थियों को ‘न से नवाज’, ‘म से मस्जिद’, ‘क से काबा’ पढ़ाए जाने के विरोध में विद्यार्थी परिषद ने शुक्रवार को स्कूल में हंगामा किया. इस दौरान कुछ परिजन भी मौजूद थे. परिषद के कार्यकर्ता वार्ड 2 स्थित बेबी कॉन्वेंट स्कूल पहुंचे और जमकर नारेबाजी की. उन्होंने हिंदी के पट्टी पहाड़े में उर्दू शब्दों का इस्तेमाल किए जाने को लेकर विरोध प्रदर्शन किया.

विद्यार्थी परिषद के कार्यतर्ता और अभिभावकों के विरोध के बाद स्कूल की प्रिंसिपल ईए कुरैशी ने गलती स्वीकार करते हुए कहा कि इस पट्टी पहाड़े को पहले चेक नहीं किया था. यह भोपाल से मंगवाया गया था और केवल एक ही था. प्रिंसिपल ने बताया कि वे 30 साल से इस स्कूल के माध्यम से सेवा दे रहे हैं. स्कूल में नर्सरी से आठवीं तक की कक्षाएं संचालित होती हैं.

पट्टी पहाड़े पर भड़के विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ता

दरअसल, मामला तब सामने आया जब स्कूल की नर्सरी कक्षा में पढ़ने वाली एक छात्रा के चाचा ने पट्टी पहाड़े पर ध्यान दिया. उन्होंने देखा कि उसमें ‘औ से औरत हिजाब में थी. उन्होंने कई पेज पलटकर देखा तो उसमें ‘क से कबूतर’ की जगह ‘क से काबा’, ‘म से मछली’ की जगह ‘म से मस्जिद’ और ‘न से नल’ की जगह ‘न से नमाज’ लिखा था. इसके बाद परिजनों ने आपत्ति जताई और पूर्व विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ताओं को इस बारे में सूचित किया.

हंगामे के दौरान विद्यार्थी परिषद के जिला संयोजक अश्विनी पटेल सहित अन्य कार्यकर्ताओं ने स्कूल की ओर से दिए गए इस पट्टी पहाड़ी का जमकर विरोध किया गया. उन्होंने कहा कि यह सनातन और हिंदुत्व के खिलाफ षड्यंत्र है. छोटे बच्चों को इस तरीके से भ्रमित कर उनको गलत शिक्षा दी जा रही है. पटेल ने कहा कि हमने तो बचपन में क से कबूतर, म से मछली पड़ा था.

प्रिंसिपल की बात पर क्यों भड़के कार्यकर्ता?

स्कूल की प्रिंसिपल ने कहा कि म से मंदिर के साथ म से मस्जिद पढ़ना गलत नहीं है. प्रिंसिपल की बात कहते हुए विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ता और भड़क गए कार्यकर्ताओं के द्वारा जिला शिक्षा अधिकारी से फोन पर बात कर स्कूल की मान्यता रद्द करने की बात कही. सूचना मिलने पर थाना कोतवाली प्रभारी नरेंद्र गोयल मौके पर पहुंचे और मामले को शांत कराकर विद्यार्थी परिषद से थाने और जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में आवेदन देने को कहा.

जिला शिक्षा अधिकारी ने दिए जांच के आदेश

इस मामले में जिला शिक्षा अधिकारी ने कहा कि मामला उनके संज्ञान में आया है. मामले की जांच करा रहे हैं. इस मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी गठित की गई है. साथ ही जिस प्रिंटिंग प्रेस से यह पहाड़ा छपा है उसके विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी. साथ ही स्कूल प्रबंधन को नोटिस दे रहे हैं. जांच सही पाए जाने पर बेबी कान्वेंट स्कूल की मान्यता रद्द करने की कार्रवाई की जाएगी.